शीर्षक :- हमारा देश
विधा :- कविता
हमारा देश
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● देश हमारा कितना प्यारा,
दुनिया भर में न्यारा है।
ताज हिमालय चरन सागर,
कुदरत का यह बसेरा है।
● माटी इसकी सोना उगले,
रत्नों का तो भण्डार है।
हरी-भरी इसकी क्यारियाँ,
फल फूलों का आगार है।
● बड़ा साहसी हर देशवासी,
बलिदान को तैयार है।
खबरदार हर बच्चा-बच्चा,
इसका पहरेदार है।
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